पुस्तक लोक संस्कार प्रसुन्न का किया गया लोकार्पण
औरंगाबाद। नवबिहार टाइम्स संवाददाता
समाहरणालय के समीप स्थित श्री कृष्ण सिंह स्मृति भवन में रविवार को डॉ हेरम्ब कुमार मिश्र कृत पुस्तक लोक संस्कार प्रसुन्न मगही काव्य संग्रह का लोकार्पण किया गया। यह कार्यक्रम अंतर्राष्ट्रीय साक्षरता दिवस के अवसर पर आयोजित किया गया जिसका उदघाटन मुख्य अतिथि सच्चिदानंद सिन्हा कॉलेज के प्राचार्य डॉ सुधीर कुमार सिंह, शंभुनाथ पाण्डेय, शंभूशरण सिंह, रामानुज पाण्डेय, प्रेमेन्द्र कुमार मिश्र, डॉ रामाधार सिंह, शिवपूजन सिंह, रसिक बिहारी सिंह, विधि संघ के सचिव जगनारायण सिंह, अधिवक्ता के अध्यक्ष संजय कुमार सिंह, प्रो. राजेन्द्र प्रसाद सिंह, प्रो. संजीव रंजन ने संयुक्त रूप से दीप जलाकर किया।
कार्यक्रम में प्राचार्य डॉ सुधीर कुमार सिंह ने कहा कि वर्तमान परिवेश के भाग दौड़ में विलुप्त होती जा रही संस्कृति को पुनः स्थापित करने का एक बहुत ही बड़ा प्रयास किया डॉ हेरम्ब कुमार मिश्र ने किया है। लोक परम्परा के अन्तर्गत विभिन्न अवसरों पर आज लोग मधुर गीतों को भूल चुके हैं और बनावटीपन की ओर भागते चले जा रहे हैं। मगध क्षेत्र के सोलहों संस्कारों में मांगलिक संस्कारों के अवसर पर जो मधुर गीत गाए जाते थे, वे आज लगभग विलुप्त हो चुके हैं।
उन्होंने कहा कि नई पीढ़ी के बच्चे अब ये भी नहीं जान पाते कि इन अवसरों पर गीत गाने की भी परम्परा रहती है। अगर चाहें भी तो गीत मिल पाना भी कठिन है। कुछ संग्रह पुस्तकें बड़े–बड़े पुस्तकालयों में या काफी अधिक कीमत पर प्राप्त हो जाएँ, यही बहुत बड़ी बात है।
कार्यक्रम की अध्यक्षमा जनेश्वर विकास केन्द्र के अध्यक्ष रामजी सिंह एवं संचालन सचिव सिद्धेश्वर विद्यार्थी ने किया। इस मौके पर साहित्य संवाद अध्यक्ष लालदेव प्रसाद सिंह, सचिव उज्ज्वल रंजन, संरक्षक लवकुश प्रसाद सिंह, रामकिशोर सिंह, शिवनारायण सिंह, जन विकास परिषद के अध्यक्ष प्रो दिनेश सिंह, उपाध्यक्ष रामचन्द्र सिंह, सह सचिव मधुसूदन त्रिवेदी, सतचंडी महोत्सव के अध्यक्ष राजेन्द्र सिंह, सीताथापा महोत्सव के अध्यक्ष दिनेश सिंह, संरक्षक गोकुल सिंह, उमगा महोत्सव अध्यक्ष संजय सिंह, सचिव ललन सिंह, लवकुश प्रसाद सिंह, विकटेश मिश्र, सोनल मिश्रा, गजेन्द्र कुमार मिश्र, चंदन कुमार पाठक, डॉ उदय कुमार, डॉ राकेश रंजन, डॉ मनोज कुमार मिश्र आदि उपस्थित रहे।